यथास्थितिवाद पर आधरित राजनीति क्या है ?


कल मै ने एक आलेख लिखा था लोकतंत्र सच में खतरे में है या विपक्ष की यथास्थितिवाद की राजनीति खतरे में है बहुत लोगो को समझ में नहीं आया होगा यथास्थितिवाद क्या है इससे सरल शब्दों में समझने के लिए दो शब्दों में समझ सकते हैं चल रहा चलता रहेगा कुछ बदलाव करने की आवश्यकता नहीं है इसी मानसिकता को यथास्थितिवाद कहते हैं । 

कांग्रेस पार्टी इसी मानसिकता आधार पर राजनीति करती थी कांग्रेस 60 साल सत्ता में रही इसमें नरसिम्हा राव जी के पांच वर्ष को छोड़ दे उसके आलावा कांग्रेस ने 55 साल के शासन कोई बड़ा राजनीतिज्ञ समाजिक सुधार नहीं किया सिर्फ सुधारों के नाम पश्चिम के सड़े हुए सम्मवादी सिद्धांतो को लागू कर दिया।यथास्थितिवादी राजीनिति का एक और उदाहरण मोदी सरकार ने कृषि क्षेत्र में बड़े सुधारों को लागू करने के लिए तीन कृषि कानून लाए थे इन कानूनों का कांग्रेस ने इसलिए विरोध किया इन कानूनों के कारण किसानों के जीवन स्तर सुधार आता है किसानों को अपने उपज की कीमत तय करने की स्वतंत्रता मिल रही थी जब किसानों को लाभ होता तो उसका श्रेय मोदी और भाजपा को मिलता है इसलिए कांग्रेस ने किसानों को भड़काकर कृषि क्षेत्र में बड़े सुधारों को नहीं होने दिया। 

मोदी सरकार के हर सुधारवादी कदम कांग्रेस पार्टी ने पिछले 10 वर्ष में विरोध किया चाहे भूमि अधिग्रहण विधेयक हो कृषि सुधार या जीएसटी इन सबका कांग्रेस ने विरोध किया एक और बात बताना चाहता हूं कि जब शाह बानो केस में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया था उस वक्त पूरे देश में मुल्ला मौलवी वर्ग ने पूरे देश में आंदोलन किया था मुल्ला मौलवियों के दबाव में आकर राजीव गांधी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट फैसला पलट दिया था उसका कांग्रेस नेता आरिफ मोहम्मद खान पीवी नरसिम्हा राव के पास गए थे उनसे यह प्रश्न किया सुप्रीम कोर्ट फैसला सही है फिर आप इस फैसले को क्यो पलट रहे हैं उन्होंने उतर दिया मुस्लिम समाज गटर में रहना चाहता तो हम क्यों सुधार करे। अर्थात जो चल रहा है उसे चलने दो इसलिए कांग्रेस मोदी सरकार के हर सुधार विरोध करती है काशी में बने विश्वनाथ कारिडोर हो या महाकाल कारिडोर हो या अयोध्या में बन रहे राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का बहिष्कार हो या अपने पाले हुए शंकराचार्य के माध्यम से राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा पर प्रश्न चिन्ह खड़े करवाना हो सबकुछ यथास्थितिवादी की मानसिकता के कारण कांग्रेस पार्टी और कांग्रेसी करते हैं।

दीपक कुमार द्विवेदी

टिप्पणियाँ